Links

loading...

Saturday, January 24, 2015

सांप, बिच्‍छू, कुत्‍ते, चूहे व अन्‍य विषैले जीव जंतुओं के काटे जाने पर प्राथमिक उपचार घर पर मौजूद चीजों से कर सकते हैं।


कीड़े मकौड़े व अन्‍य जीव जंतुओ के काटने पर


हम जाने अनजाने कई बार कीड़े – मकौड़ों, जहरीले सांप, बिच्‍छू, कुत्‍ते मधुमक्‍खी आदि के शिकार के शिकार होते ही रहते हैं। वैसे तो इसका सबसे उत्‍तम इलाज यह है कि इन विषैले जीव जंतुओं का शिकार व्‍यक्ति जल्‍दी से जल्‍दी स्‍वास्‍थ्‍य केंद्र पहुंच जाए, क्‍योंकि वहां इन जीवों के एंटी वेनम उपलब्‍ध होते हैं। आधुनिक चिकित्‍सा पद्धति में बहुत ही अच्‍छा इलाज उपलब्‍ध है।
पर यदि हम बात करें अपने देश भारत की तो यहां ऐसी सुविधाएं हमारे अस्‍पतालों में मिल भी सकती हैं और नहीं भी। मैं यह इसलिए यह बात उठा रही हूं कि हमारे प्राथमिक चिकित्‍सालयों व जिला अस्‍पतालों की क्‍या हालत है? यह बात किसी से छुपी हुई नहीं है। हमारे जिला अस्‍पतालों में रैबीज के इंजेक्‍शन अस्‍पताल में ढूंढ़े नहीं मिलते। हां अस्‍पतालों के बाहर मौजूद मेडिकल स्‍टोरों पर ऊंची कीमत पर आसानी से मिल जाते हैं। इतना सब होने के बावजूद हमें इन अस्‍पतालों में ही जाना चाहिए। क्‍या पता वहां एंटी वेनम या रैबीज के इंजेक्‍शन मौजूद हों और वह पीडि़त व्‍यक्ति को आसानी से मिल जाए।
एक महत्‍वपूर्ण बात और सांप बिच्‍छू के काटने पर बहुत से लोग झाड़ फूंक करने वाले ओझा के पास चले जाते हैं और सही इलाज न मिल पाने की वजह से दम तोड़ देते हैं। इसलिए मेरी विनती है कि आप यदि जहरीले जीव जंतुओं के विष का शिकार हुए हैं, तो प्‍लीज इन पाखंडी ओझाओं के चक्‍कर में मत पड़ें।
किसी ओझा के पास जाने से बेहतर है कि आप दादी, नानी के अचूक नुस्‍खों का इस्‍तेमाल करें। वह भी जब तक मरीज अस्‍पताल नहीं पहुंच जाता। यदि मरीज को अस्‍पताल पहुंचाने में किसी प्रकार दिक्‍कत आ रही है, तो तब तक अपने घर में मौजूद चीजों से जहर उतारने की कोशिश कर सकते हैं। मैं इस संदर्भ में एक बार फिर कह रही हूं कि बेहतर इलाज आधुनिक चिकित्‍सा पद्धति में ही है। इसलिए जैसे ही संभव हो मरीज को तुरंत अस्‍पताल में भर्ती कराएं।


यदि बिच्‍छू डंक मारे तो....

१ * प्‍याज के रस में नौसादर मिलाकर बिच्‍छू के डंक पर लगाने से विष उतरता है।

२ * हल्‍दी की बुकनी अंगों पर डालकर उसका धुआं बिच्‍छू के डंक वाले स्‍थान पर देने से जहर उतरता है।

३ * इमली का बीज कच्‍चा या गर्म करके सेंका गया हो। फिर आप उस बीज को तब तक घिसें जब तक उसका सफेद भाग न दिखाई देने लगे। आप इमली के इस बीज को खूब घिसें, घिसने से उस पर चढ़ी काली महरून परत हट जाएगी और उसका सफेद भाग दिखने लगेगा। घिसने से बीज अत्‍याधिक गर्म हो जाएगा। आपको यही गर्म सफेद भाग बिच्‍छू के डंक पर चिपकाना है। इमली का यह बीज बिच्‍छू का सारा जहर खींचकर स्‍वत: नींचे गिर जाएगा।

४ * पुदीने का रस पीने अथवा उसके पत्‍ते खाने से बिच्‍छू के काटने से होने वाली पीड़ा में आराम मिलता है।

५ * रतालू के रस में नौसादर मिलाकर बिच्‍छू के डंक पर लगाने से बिच्‍छू का जहर उतरता है। रतालू सूखा हो तो भी चलेगा। आप सूखे रतालू को भी घिस कर लगा सकते हैं। लाभ होगा।


चूहे के काटने पर....

१ * चौलाई के मूल का तीन ग्राम चूर्ण दिन में तीन चार बार शहद के साथ खाने से चूहे का जहर दूर होता है।

२ * चूहे के काटने पर खराब हुए खोपरे को मूली के रस के साथ घिस कर घाव पर लेप करें। आपको फाएदा होगा।


यदि कुत्‍ता काट ले तो.....

१ * जंगली चौलाई की जड़ १२५ ग्राम लेकर पीस लें और पानी के साथ बार बार रोगी को पिलाएं। इससे कुत्‍ते के काटने से पागल हुए रोगी को बचाया जा सकता है।

२ * प्‍याज का रस और शहद मिलाकर पागल कुत्‍ते के काटने से हुए घाव पर लगाने से जहर उतरता है।

३ * लाल मिर्च पीसकर तुरंत घाव में भर दें। इससे कुत्‍ते का जहर जल जाता है और घाव भी जल्‍दी ठीक हो जाता है।

४ * हींग को पानी में पीस कर लगाने से पागल कुत्‍ते के काटने से हुए घाव का जहर उतर जाता है।


यदि सांप ने काटा हो तो....

१ * हींग को अरंड की कोपलों के साथ पीसकर चने के बराबर गोलियां बनाइए तथा सांप के काटने पर दो – दो गोली आधे – आधे घंटे पर गर्म पानी के साथ देने पर लाभ होता है।

२ * सांप के काटने पर सौ से दो सौ ग्राम शुद्ध घी पिलाकर उल्‍टी कराने से सांप के विष का असर कम होता है। घी पिलाने के १५ मिनट बाद कुनकुना पानी अधिक से अधिक पिलाएं इससे तुरंत उल्टियां होने लगेंगीं और सांप का विष भी बाहर निकलता जाएगा।

३ * सांप के काटने पर ५० ग्राम घी में १ ग्राम फिटकरी पीसकर लगाने से भी जहर दूर होता है।

४ * अरहर की जड़ को चबा – चबा कर खाने से सांप का जहर कम हो जाता है।


यदि ततैया काटे....

१ * ततैया या बर्रे ने काटा हो तो उस स्‍थान पर खटटा अचार या खटाई मल दें। जलन खत्‍म हो जाएगी।

२ * काटे हुए स्‍थान पर फौरन मिटटी का तेल लगाएं। जलन शांत हो जाएगी।

३ * ततैया के काटने पर उस स्‍थान पर नींबू का रस लगाएं। सूजन और दर्द चला जाएगा।


कुछ अन्‍य जीवों के काटने पर क्‍या करें.....?

१ * मधुमक्‍खी के डंक पर सोआ और सेंधा नमक को चटनी बनाकर लेप करने से दर्द दूर हो जाता है।

२ * मकड़ी के काटने पर अमचुर को पानी में मिलाकर घाव पर लगाएं। आराम मिलेगा।

३ * कनखजूरे के काटने पर प्‍याज और लहसुन पीसकर लगाने से उसका जहर उतर जाता है।

४ * छिपकली के काटने पर सरसों का तेल राख के साथ मिलाकर घाव पर लगाने से जहर दूर होता है।


एक और उपयोगी टिप्‍स... चींटी, मधुमक्‍खी व ततैया काटने पर...


१ * यदि आपको किसी चींटी, मधुमक्‍खी या ततैया ने काटा हो, तो आप घर में मौजूद कोलगेट या कोलगेट जैसा अन्‍य कोई पेस्‍ट (जिसमें मिंट की मात्रा ज्‍यादा हो) लगाएं। आपको तुरंत आराम मिलेगा। इससे जलन व सूजन दोनों ही ठीक हो जाते हैं।    

9 comments: